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नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने भारतीय युवा कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्रीनिवास बी वी को असम में अब निष्कासित महिला पार्टी सदस्य के अपमान के मामले में अग्रिम जमानत दे दी है।
सुप्रीम कोर्ट ने श्रीनिवास को जांच अधिकारी के सामने पेश होने और जांच में सहयोग करने के लिए कहा है। श्रीनिवास ने अपनी अग्रिम जमानत याचिका खारिज करने के गुवाहाटी उच्च न्यायालय के आदेश को चुनौती दी थी। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस बी आर गवई और संजय करोल की पीठ ने असम सरकार और अन्य को नोटिस जारी कर इस मामले में 10 जुलाई तक जवाब मांगा है। हमने (सीआरपीसी की धारा) 164 के बयान का अवलोकन किया है, जिसे अभियोजन पक्ष ने बड़ी शालीनता से हमारे सामने रखा है। हम इस समय राज्य के खिलाफ कुछ भी नहीं कहना चाहते हैं। पीठ ने कहा, प्राथमिकी दर्ज करने में एक महीने की देरी को ध्यान में रखते हुए याचिकाकर्ता अंतरिम सुरक्षा का हकदार है। शीर्ष अदालत ने श्रीनिवास को जांच में सहयोग करने और 22 मई को पुलिस के सामने पेश होने का भी निर्देश दिया है। 5 मई को, गौहाटी उच्च न्यायालय ने श्रीनिवास की असम युवा कांग्रेस की निष्कासित प्रमुख अंगकिता दत्ता द्वारा दायर एक मामले में अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी, जिसमें श्रीनिवास पर उन्हें मानसिक पीड़ा देने का आरोप लगाया गया था।