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नई दिल्ली। फिल्म द केरल स्टोरी पर रोक लगाने से मना करने के केरल हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ याचिकाकर्ताओं ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है। वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने शीर्ष अदालत से मामले में जल्द सुनवाई का अनुरोध किया, जिसके बाद चीफ जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़ ने 15 मई को सुनवाई की बात कही। केरल हाईकोर्ट ने 5 मई को फिल्म द केरल स्टोरी की रिलीज पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था।
यह कहते हुए कि केरल का धर्मनिरपेक्ष समाज फिल्म को उसी रूप में स्वीकार करेगा, जैसी वह है, केरल हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ताओं से पूछा कि फिल्म, जो काल्पनिक है न कि इतिहास, समाज में कैसे सांप्रदायिकता और संघर्ष पैदा करेगी। अदालत ने यह भी जानना चाहा कि क्या पूरा ट्रेलर समाज के खिलाफ था।
अदालत ने फिल्म के सेंसर प्रमाणपत्र को रद्द करने की मांग करने वाली याचिकाओं के एक बैच पर विचार करते हुए कहा, सिर्फ फिल्म दिखाए जाने से कुछ नहीं होगा। फिल्म का टीजर नवंबर में रिलीज किया गया था। फिल्म में आपत्तिजनक क्या था? यह कहने में क्या गलत है कि अल्लाह ही एकमात्र ईश्वर है? देश नागरिकों को यह अधिकार देता है कि वे अपने धर्म और ईश्वर को मानें और उसका प्रसार करें। ट्रेलर में आपत्तिजनक क्या था?
सेन की फिल्म द केरल स्टोरी के ट्रेलर की आलोचना भी हुई, क्योंकि इसमें दावा किया गया था कि राज्य की 32 हजार लड़कियां लापता हो गईं और बाद में आतंकवादी समूह आईएसआईएस में शामिल हो गईं। हालांकि, बाद में निर्माताओं ने इस आंकड़े को वापस ले लिया और फिल्म के ट्रेलर विवरण में फिल्म को केरल की तीन महिलाओं की कहानी बताया।